Jagannath Mandir

6 months ago
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जगन्नाथ के पांडे की कबीर जी द्वारा रक्षा

जगन्नाथ पुरी में एक रामसहाय पाण्डा खिचड़ी का प्रसाद उतार रहा था। गर्म खिचड़ी उसके पैर पर गिर गई। उस समय कबीर जी अपने करमण्डल से हिम (बर्फ) की तरह ठंडा जल रामसहाय पाण्डा के पैर पर डाला। उसके तुरंत बाद उसका पैर ठीक हो गया। उस समय कबीर जी ना होते तो रामसहाय पाण्डा का पैर जल जाता।

पग ऊपरि जल डालकर, हो गये खड़े कबीर।
गरीबदास पंडा जरया, तहां परया योह नीर।।
जगन्नाथ जगदीश का, जरत बुझाया पंड।
गरीबदास हर हर करत, मिट्या कलप सब दंड।।

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